2023 मनाली में घूमने की जगह : जानिए मनाली के पर्यटन स्थल के बारे में जानकारी

दोस्तों आज हम आपको मनाली में घूमने की जगह के बारे में बताने जा रहे है। हम आपको भारत के सबसे मशहूर हिल स्टेशन और सबसे पसंदीदा हनीमून डेस्टिनेशन के बारे में पूरी जानकारी देंगे। मनाली एक ऐसा जगह है जहा पर आप साल के किसी भी समय घूमने के लिए जा सकते है। अगर आप गर्मियों के समय में जब पुरे उत्तर भारत में गर्म हवाओं का झोका चलता है तो भी आप शिमला आकर सर्दियों का मज़ा ले सकते है।

मनाली में घूमने की जगह

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मनाली का इतिहास 

मनाली भारत के उत्तरी राज्य हिमाचल प्रदेश के कुल्लू नामक जिले में स्थित है। यह एक लोकप्रिय हिल स्टेशन है जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता, शांति और खूबसूरत है पहाड़ियों के लिए जाना जाता है। मनाली व्यास नदी के किनारे कुल्लू घाटी के उत्तरी छोर पर बसा हुआ है। मनाली और उसके आसपास के क्षेत्र भारतीय संस्कृति और विरासत के लिए बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि इसे सात ऋषियों का घर बताया गया है। मनाली शहर का नाम मनु के नाम पर रखा गया है, मनाली का शाब्दिक अर्थ मनु का निवास स्थान होता। ऐसा कहा जाता है कि जब जल प्रलय आया था तब मनु ने मनुष्यों की रक्षा के लिए यहीं पर सभी लोग के साथ रहने का स्थान बनाया था।

मनाली में घूमने की जगह

मनाली में घूमने की जगह बहुत सारी है। मनाली अपने प्राकृतिक स्थलों और जंगलों और बर्फीली पहाड़ी के लिए फेमस है। यहां पर बहुत सारे मंदिर भी है जहां आप एक बार तो जरूर आना चाहेंगे। 

रोहतांग दर्रा 

मनाली में घूमने की जगह

रोहतांग दर्रा मनाली से लगभग 51 किलोमीटर की दूरी पर और यह समुद्र से 3980 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है।यह कुल्लू क्षेत्र के सबसे शानदार स्थलों में से एक है इसे देखने के लिए देश-विदेश से लोग आते हैं। रोहतांग पास, स्पिती और लाहौल जैसी दो बेहतरीन घाटियों को जोड़ता है। यहां पर लोग आइस स्केटिंग, स्कीइंग, पैराग्लाइडिंग इत्यादि साहसिक खेलो का आनंद लेते हैं। जब पूरा भारत गर्मियों से झुलस रहा होता है तब यहां पर 5 इंच मोटी बर्फ देखने को मिलती है। अत्यधिक बर्फबारी के मौसम में यह दर्रा बंद हो जाता है। यहा कुल्लू मनाली आने वाले लोगों के लिए सोलंग वैली और रोहतांग दर्रा यह दो सबसे पसंदीदा स्थान है।

अर्जुन गुफा

मनाली में घूमने की जगह

अर्जुन गुफा मनाली जाने वालों के लिए एक सबसे पसंदीदा पर्यटन स्थल है जो अपने उत्कृष्ट सुंदरता और कहानियों के लिए प्रसिद्ध है। अर्जुन गुफा, नग्गर कस्बे के पास स्थित है। अर्जुन गुफा का नाता महाभारत काल से है। ऐसा कहा जाता है, कि जब महाभारत का युद्ध होने वाला था तो पांडवों में सबसे अच्छे धनुर्धर अर्जुन ने भगवान इंद्र से उनका सबसे शक्तिशाली हथियार पशुपति अस्त्र लेने के लिए, इसी गुफा में ध्यान किया था। भगवान इंद्र ने अपने पुत्र अर्जुन की भक्ति से प्रसन्न होकर उन्हें अपना शक्तिशाली अस्त्र पशुपति अस्त्र दिया था। इस गुफा के आसपास ही कई सारे और भी गुफाएं, झील और मंदिर स्थित है। अर्जुन गुफा से पहाड़ियों और घाटियों के शानदार नजारे को देखा जा सकता है। 

हिडिम्बा मन्दिर 

मनाली में घूमने की जगह

भारतीय हिंदू संस्कृति और इतिहास में रुचि रखने वाले और शांति की खोज करने वाले पर्यटकों के लिए हिडिंबा मंदिर एक जरूरी पर्यटन स्थल है। इस मंदिर का नाम पांडू पुत्रों में से एक महाबलशाली भीम की पत्नी राक्षसी हिडिंबा देवी के नाम पर रखा गया। यहीं पर हिडिंबा देवी ने महाभारत खत्म होने के बाद भगवान शिव की तपस्या की थी। इस मंदिर के अंदर हिडिंबा देवी का एक पीतल की मूर्ति बनी हुई है जो देखने में अविश्वसनीय रूप से शानदार दिखती है। इस मंदिर का निर्माण राजा बहादुर सिंह ने 1553 ईस्वी में करवाया था। देवदार के पेड़ों से घिरे हुए इस मंदिर की खूबसूरती जब यहां पर बर्फबारी होती है तो उसके बाद देखते ही बनती है। 

मनु मन्दिर 

मनाली में घूमने की जगह

मनु मंदिर मनाली के सबसे पुराने मंदिरों में से एक है जो ब्यास नदी के तट पर स्थित है। मंदिर का मुख्य रास्ता रोड से तकरीबन 3 किलोमीटर है। ऐसा माना जाता है कि मनु सृष्टि के प्रथम थे। ऋषि मनु का असली नाम स्वयंभू मनु था। ऐसा माना जाता है कि इस सृष्टि के सभी लोगों की उत्पत्ति इन्हीं के द्वारा ही हुई है। उनकी पत्नी का नाम शतरूपा था। इस मंदिर के बारे में ऐसी मान्यता है यहां पर ऋषि मनु का प्रथम चरण पड़ा था और उसके निशान भी यहां पर है। हिमाचल प्रदेश में ही भारत का एकमात्र ऋषि मनु का मन्दिर स्थित है।

वशिष्ठ गर्म पानी की कुंड और मंदिर

मनाली में घूमने की जगह

बैस नदी के तट पर वशिष्ठ नाम का एक छोटा गांव है जो मनाली से 3 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यह छोटा सा खूबसूरत गांव अपने गर्म पानी के झरने और वशिष्ठ मंदिर के लिए प्रसिद्ध है। ऐसी मान्यता है कि इस पानी में नहाने से कई प्रकार की स्किन बीमारियां और शरीर के इंफेक्शन ठीक हो जाती है। यहां पर तुर्किश स्टाइल के बाथ हाउस भी हैं जिसमें  गर्म पानी भी होती है  हम अपनी प्राइवेसी का ख्याल रखते हुए नहा सकते हैं। यहां पर 2 मंदिर हैं, जिसमें 1 में ऋषि वशिष्ठ की पूजा होती है और दूसरे मंदिर में भगवान श्री राम की पूजा की जाती है। यहां पर भक्त लोग झरने में नहा कर भगवान श्री राम और उनके गुरु गुरु वशिष्ठ से आशीर्वाद लेते हैं। 

भृगु झील

मनाली में घूमने की जगह

भृगु झील हिमाचल प्रदेश के मनाली आने वाले लाखों पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है। यहां पर सप्त ऋषियों में से एक ऋषि भृगु ने झील के पास ध्यान किया था। इस झील को भगवान का पुल भी करते हैं। ऐसा बताया जाता है कि यहां पर देवताओं ने भी पवित्र जल में स्नान किया था। यह झील गुलाबा गांव से 6 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है यहां आपको ट्रैकिंग करके आना होता है। यहां पर आप अपने परिवार के साथ पिकनिक मनाने के लिए आ सकते हैं। चारो तरफ बर्फ से ढ़की हुई चोटियों के बीच स्थित इस झील की शान्ति आपके मन को सुकून देती है। 

सोलंग वैली

मनाली में घूमने की जगह

जब आप मनाली शहर आते हैं तो पहली जगह जहां आप जाने की इच्छा रखते हैं वह है सोलंग घाटी। आपके सफर को स्फुर्ती से भरना और रोमांटिक बनाना इस जगह की विशेषताएं है। यहां पर आप गर्मियों में पैराशूटिंग से लेकर पैराग्लाइडिंग तक घुड़सवारी से लेकर ओपन एयर जीप चलाने तो सर्दियों के महीने में इस किंग और स्नोबोर्डिंग आदि सब कुछ कर सकते हैं। सोलंग वैली अपने प्राकृतिक नजारों और गगनचुंबी पर्वतों और एडवेंचरस एक्टिविटीज के लिए जानी जाती है। आप सोलंग वैली में सर्दी – गर्मी या धूप – छांव किसी भी समय रोड ट्रिप करने के लिए आ सकते हैं। 

मनाली गोम्पा

मनाली में घूमने की जगह

मनाली गुफा को 1960 में तिब्बती बौद्धों ने और नेपाली लोगों ने बनाया था। इस बुद्धिस्ट मॉनेस्ट्री में बहुत सारे तिब्बती शरणार्थी आए और इस हिल स्टेशन को अपना घर बनाया। तिब्बती बौद्धों के अलावा नेपाली और राहोल के लोग के लिए भी एक प्रसिद्ध स्थान है। यहां पर भगवान बुद्ध की एक विशालकाय मूर्ति भी है। यह बौद्ध मठ मनाली में अपनी आकर्षक वास्तुकला के लिए भी प्रसिद्ध पर्यटन स्थल में से एक है। इस मठ के अंदर बहुत सारे तिब्बती लोगों के दुकानें हैं जहां पर वह ठंड से बचने के लिए गर्म कपड़े और तिब्बती हस्तशिल्प और कालीन बेचते हैं।

जोगनी झरना 

मनाली में घूमने की जगह

जोगनी झरना मनाली की खूबसूरत घाटियों में स्थित है। यह मनाली शहर से लगभग 4 किलोमीटर और वशिष्ठ मंदिर से लगभग 2 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इस झरने का पानी 160 मीटर की ऊंचाई से गिरता है। इस झरने तक जाने के लिए आप वशिष्ठ मंदिर से देवदार के पेड़ों और बागों के बीच से ट्रैक करना पड़ता है। जोगनी झरने पर चढ़ने के लिए लगभग 3 घंटे का समय लगता है इसलिए इस स्थान की सुंदरता को ध्यान से देखने के लिए आप अपने साथ एक कैमरा जरूर लेकर आएं जिससे कि आप उस स्थान के आसपास आंखों को पसंद आने वाली नयनाभिराम दृश्यों को अपने कैमरे में कैद कर सकें। इस क्षेत्र में आप साहसिक और मनोरंजक गतिविधियों को कर सकते हैं और यह कपल्स और पर्यटकों के लिए एक पसंदीदा पिकनिक का स्थान है। 

ग्रेट हिमालयन नेशनल पार्क 

मनाली में घूमने की जगह

 

ग्रेट हिमालयन नेशनल पार्क कुल्लू जिले में स्थित है। इस पार्क को वर्ल्ड हेरिटेज लिस्ट में जगह दी गई है। यह पार्क अपनी जैव विविधताओं के लिए प्रसिद्ध है, इसमें 25 से अधिक प्रकार के वन, 800 से अधिक प्रकार के पौधे और 180 से अधिक पक्षी प्रजातियों का वास है यह पार्क 620 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैला है। अगर आप पेड़ पौधों और जानवरों और पंछियों को देखना चाहते हैं तो आपके लिए यह किसी स्वर्ग से कम नहीं है। यहां पर आप मस्क डीयर, गोराल, चीता, बर्फानी चीता, ब्राउन बीयर, मोनल, कलिज कोकलास, चीयर, ट्रागोपान, बर्फानी कौवा आदि जानवरों और पक्षियों की प्रजातियां देख सकते हैं। 

दिल्ली से मनाली कैसे जाये

अगर आप दिल्ली से मनाली जाते हैं तो आपके लिए 4 माध्यम हो सकते पहला बस से ,दूसरा ट्रेन के द्वारा और तीसरा हवाई जहाज या हेलीकॉप्टर के द्वारा या चौथा टैक्सी या अपनी गाड़ी से।

दिल्ली से मनाली बस के द्वारा

अगर आप दिल्ली से मनाली बस के द्वारा जाते हैं तो आपको दिल्ली के कश्मीरी गेट से बस मिलेगी यहाँ पर सरकारी बस मिलेगी और अगर आप चाहते हैं कि आपको प्राइवेट बस में सोने की सुविधा भी मिल जाए तो आपको ऑनलाइन बुकिंग करनी होगी जिसे आप Make My Trip या  Redbus आदि ऑनलाइन बुकिंग सर्विस से कर सकते हैं। दिल्ली से मनाली बस का किराया ₹700 से शुरू होता होता है। कश्मीरी गेट से सुबह के 6:30 से आपको मनाली के लिए बसें मिलनी शुरू हो जाती हैं। 

दिल्ली से मनाली ट्रेन के द्वारा

घूमने की बात हो और ट्रेन के सफर की बात ना हो यह कैसे हो सकता है। सभी भारतीय कभी न कभी घूमने के लिए ट्रेन का प्रयोग करते ही करते हैं तो अगर आपको दिल्ली से मनाली ट्रेन के द्वारा जाना हैं तो आपको अपनी ट्रेन दिल्ली से चंडीगढ़ रेलवे स्टेशन या पठानकोट तक ही मिल सकती है। मनाली के लिए कोई रेलवे स्टेशन या ट्रेन नहीं है। उसके आगे ट्रैवल के लिए आपको बस या टैक्सी का ऑप्शन चुनना पड़ता है। इसका किराया बहुत कम ₹200 से शुरू होता है इसमें आप स्लीपर क्लास में जा सकते हैं।

दिल्ली से मनाली हवाई जहाज के द्वारा 

अगर आप दिल्ली से मनाली हवाई जहाज के द्वारा जाना चाहते हैं तो आपको मनाली से करीब 50 किलोमीटर दूर स्थित हवाई अड्डा जो भुंतर में स्थित है वहां जाना होगा और वहां से आप टैक्सी ले सकते हैं जो आपको मनाली के लिए छोड़ देगा। हालाकी मौसम की स्थिति के कारण मनाली जाने या वहाँ से बाहर जाने के लिए उड़ाने सबसे विश्वसनीय विकल्प नहीं हैं। हवाई जहाज के अलावा आप हेलीकॉप्टर की सुविधा ले सकते हैं। इसका किराया करीब ₹13000 से स्टार्ट होता है।

अगर दिल्ली से मनाली टैक्सी के द्वारा

अगर आप दिल्ली से मनाली टैक्सी के द्वारा या अपने वाहन से जाना चाहते हैं तो आप जा सकते हैं। अपनी गाड़ी से जाने का फायदा यह होता है आपको रास्ते में आने वाली सभी प्राकृतिक दृश्यों को देख सकते हैं और कहीं पर भी अपनी सुविधा के अनुसार रुक सकते हैं। दिल्ली से मनाली 539 किलोमीटर है जिसे आप अपनी गाड़ी से 12 से 14 घंटे में तय कर सकते हैं। 

मनाली में कहा रुके 

मनाली में रुकने के लिए बहुत सारे होटल्स है। अधिकतर होटल आपको मनाली के मॉल रोड के आसपास मिल जाएंगे। यहां पर आपको गेस्ट हाउस से लेकर फाइव स्टार होटल तक मिल जाते हैं, इसके अलावा सभी पर्यटन स्थलों के आसपास भी आपको होटल मिल जाएंगे। यहां पर किराया ₹200 से लेकर ₹60000 तक प्रतिदिन है। होटल्स के अलावा आप वहां पर होमस्टे कर सकते हैं और आप हिमाचल प्रदेश की संस्कृति से भी रूबरू हो सकते हैं। 

मनाली कब जाये

वैसे तो मनाली एक खूबसूरत प्राकृतिक पर्यटन स्थल है तो आप कभी भी जा सकते हैं लेकिन मनाली यात्रा के लिए सबसे अच्छा समय मार्च से जून तक का है लेकिन अगर आप वहां पर बर्फबारी देखना चाहते हैं तो आपको नवंबर से लेकर फरवरी तक जाना चाहिए बारिश के मौसम में मनाली पहाड़ी इलाका होने के कारण वहां पर भूस्खलन की घटनाएं अधिक होती है इसलिए आपको इस समय नहीं जाना चाहिए

 

मनाली में क्या क्या पहने 

मनाली भारत के हिमालई राज्यों में से एक हिमाचल प्रदेश में पड़ता है तो वहां पर हर समय ठंड का मौसम रहता है तो जब हम मनाली घूमने जाएं तो अपने पास गर्म कपड़े, जैकेट स्वेटर दस्ताने और जूते मोजे आदि रखना चाहिए। इसके अलावा जब हम मनाली जाते हैं तो वहां की हिमाचली ड्रेस को भी पहनना चाहिए और फोटो खिचवा कर उसे हम यादगार के रूप में रख सकते हैं। 

FAQ 

मनाली में बर्फ कौन से महीने में गिरती है? 

मनाली में बर्फबारी दिसंबर से मार्च के बीच होती है पर्यटक यहां बिना संकोच के घूमने आ सकते हैं। इस बर्फबारी में लोग बर्फ गिरते हुए देख सकते हैं और स्केटिंग और स्केइंग आदि साहसिक खेल खेल सकते हैं।

क्या मनाली कुल्लू से बेहतर है?

मनाली कुल्लू जिले के अंतर्गत एक हिल स्टेशन है इसके अलावा कुल्लू में भी बहुत सी जगह घूमने लायक हैं। कुल्लू में भी आप बहुत सारी प्राकृतिक दृश्यों को देख सकते हैं।

मनाली घूमने में कितना खर्चा आता है? 

अगर आप अपना हनीमून मनाने के लिए मनाली घूमने जा रहे हैं तो आपको 15000 Per Person घूमने के लिए लगेगा। इस इन पैसों से आप मनाली और मनाली के आसपास की जगहों को अच्छे से घूम सकते हैं। यह पूरा खर्चा आपको दिल्ली से लेकर मनाली घूमने तक के लिए तथा दिल्ली आने तक का होगा। 

मनाली घूमने के लिए कितने दिन चाहिए?

वैसे तो आप मनाली घूमने के लिए 2 दिन में भी घूम सकते हैं लेकिन अगर आप मनाली को अच्छी तरीके से घूमना चाहते हैं तो आप को कम से कम 4 से 5 दिन का समय लगेगा। 4 से 5 दिन में आप सभी जगहों को अच्छी तरीके से घूम सकते हैं। 

सबसे सस्ता शिमला या मनाली कौन सा है?

सबसे सस्ता शिमला या मनाली कौन है तो इसका उत्तर होगा मनाली क्योंकि शिमला में होटल का खर्च और अन्य गतिविधियों के लिए आपको अधिक पैसे देने होते हैं लेकिन अगर आप मनाली जाते हैं तो आप के खर्चे कुछ कम हो जाते हैं। शिमला घूमने के लिए आपको कम से कम ₹17000 से ₹22000 खर्च करने पड़ते हैं वही आप मनाली में ₹12000 से ₹15000 खर्च कर आराम से घूम सकते हैं।

निष्कर्ष 

अगर आपको अपने रोजाना के कामों और अपनी टेंशन को खत्म करना है तो आपको मनाली जरूर आना चाहिए और यहां की आकर्षक वादियों में और यहां की बर्फबारी को देखकर अपनी थकान और टेंशन को भूल जाना चाहिए। यहां का बजट अन्य हिल स्टेशनों की अपेक्षा बहुत ही सस्ता है।

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